जयपुर. सरकार की ढिलाई (Government laxity) से 50 जिलाें के सरकारी अस्पतालाें में अधिकारी लापरवाही बने हुए हैं। सरकारी अस्पतालाे में डिलीवरी के बाद डिस्चार्ज से पहले नवजात काे मिलने वाला जन्म प्रमाण पत्र नहीं मिल रहा है। इसी कारण माता-पिता काे अपने बच्चे के जन्म प्रमाण पत्र के लिए जन्म के 21 दिन बाद नगर निगम, नगर पालिकाअाें या ग्राम पंचायताें के चक्कर लगाने पड़ रहे हैं। जबकि सरकार के स्पष्ट नियम हैं कि 21 दिन तक अस्पताल से नवजाताें के शत प्रतिशत जन्म प्रमाण पत्र जारी कर दिए जाएं।
प्रदेश के 50 जिलाें में 1 जुलाई से 20 अगस्त तक जन्मे बच्चाें के जन्म प्रमाण पत्राें की चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग की पीसीटीएस पाेर्टल के माध्यम से पहचान पाेर्टल पर जीवित जन्म शिशु की समीक्षा में चाैंकाने वाले अांकड़े सामने अाए हैं। इस अवधि एक लाख 2 हजार 162 नवजाताें का जन्म हुआ, लेकिन मात्र 25 हजार 403 यानी 24.87 प्रतिशत ही जन्म प्रमाण पत्र जारी किए गए।
हालात ये हैं कि 23 हजार 699 जन्म प्रमाण पत्र पेंडिंग हैं, लेकिन उन्हें जारी नहीं किया जा रहा है। यानी जिस जन्म प्रमाण पत्र का काम अस्पताल में ही हाे सकता है, उसके लिए जिम्मेदार अधिकारी निकाय या पंचायताें के चक्कर लगवाने काे मजबूर कर रहे हैं।
चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के निदेशक अारसीएच डाॅ. सुनीत सिंह राणावत ने प्रदेश के सभी मेडिकल काॅलेज, जिला अस्पताल, उप जिला अस्पताल, सेटेलाइट अस्पताल, सीएचसी सहित अन्य अस्पतालाें के प्रभारियाें काे नाेटिस जारी किया है। साथ ही पीसीटीएस पाेर्टल के माध्यम से सरकारी अस्पतालाें में जन्मे बच्चाें के जन्म प्रमाण पत्र जारी कर डिस्चार्ज के समय दंपती काे हर हाल में उपलब्ध कराएं।
21 जिले 10 प्रतिशत का आंकड़ा भी नहीं छू पाए
नवजात के जन्म प्रमाण पत्र बनाने के मामले में प्रदेश के 21 जिले ताे 10 प्रतिशत का अांकड़ा भी नहीं छू पाए हैं। यानी यहां पूरी लापरवाही बरती गई है। अलवर, बालाेतरा, बांसवाड़ा, ब्यावर, बीकानेर, बूंदी, चित्ताैड़गढ़, डीडवाना-कुचामन, डीग, जयपुर प्रथम, जैसलमेर, काेटा, जाेधपुर ग्रामीण, नागाैर, नीमकाथाना, पाली, सलूंबर, सांचाेर, प्रतापगढ़, सीकर, सिराेही में प्रदेश में सबसे कम जन्म प्रमाण पत्र जारी किए गए हैं। हालात ये रहे कि बीकानेर में 4211 के मुकाबले 11 ही जन्म प्रमाण पत्र बने। सांचाैर में 124 नवजाताें के जन्म पर मात्र 1 ही प्रमाण पत्र जारी किया गया।
इन जिलाें के अस्पतालाें में 10% से कम बने जन्म प्रमाण पत्र
जिला नवजात के जन्म जारी प्रमाण पत्र प्रतिशत 21 दिन में पेंडिंग
1. अलवर 3727 368 9.87 1209
2. बालाेतरा 2320 35 1.51 814
3. बांसवाड़ा 4154 196 4.72 1145
4. ब्यावर 1351 18 1.33 152
5. बीकानेर 4211 11 0.26 1092
6. बूंदी 1273 42 3.30 185
7. चित्ताैड़गढ़ 2988 149 4.99 1060
8. डीडवाना-कुचामन 1033 28 2.71 248
9. डीग 1465 41 2.80 428
10. जयपुर प्रथम 5006 394 7.87 1895
11. जैसलमेर 1205 43 3.57 373
12. काेटा 2321 26 1.12 543
13. जाेधपुर ग्रामीण 1903 107 5.62 617
14. नागाैर 1802 13 0.72 434
15. नीमकाथाना 604 29 4.80 125
16. पाली 2234 32 1.43 590
17. सलूंबर 925 83 8.97 276
18. सांचाेर 124 01 0.81 28
19. प्रतापगढ़ 1369 29 2.12 161
20. सीकर 1453 20 1.38 376
21. सिराेही 1587 18 1.13 284
29 जिलाें में जन्म प्रमाण पत्राें की स्थिति, कराैली अाैर धाैलपुर में सर्वाधिक
जिला नवजात की संख्या जारी सर्टिफिकेट प्रतिशत प्राेग्रेस पेंडिग
1.अजमेर 2811 1517 53.97 385
2. अनूपगढ़ 648 91 14.04 195
3 बारां 2664 1745 70.82 232
4. बाड़मेर 2813 1612 57.31 272
5. भरतपुर 2836 426 15.02 244
6. भीलवाड़ा 3564 1104 30.98 842
7. चूरू 2654 386 14.54 813
8. दाैसा 2535 2004 79.05 202
9. धाैलपुर 2700 2220 82.22 121
10. दूदू 111 15 13.51 34
11. डूंगरपुर 2705 313 11.57 733
12. गंगानगर 1398 663 47.42 363
13. गंगापुर सिटी 867 139 16.03 262
14. हनुमानगढ़ 2121 1390 65.54 271
15. जयपुर द्वितीय 2269 1020 44.95 417
16. जालाैर 525 399 76.00 33
17. झालावाड़ 3613 2029 56.16 466
18. झुंझनूं 1518 1151 75.82 140
19. जाेधपुर 3614 844 23.35 1085
20. कराैली 2074 1715 82.69 139
21. केकड़ी 894 313 35.01 144
22. खैरथल-तिजारा 860 131 15.23 166
23. काेटपूतली-बहराेड़ 1178 227 19.27 381
24. फलाैदी 1028 258 25.10 125
25. राजसमंद 1986 284 14.30 578
26. सवाईमाधाेपुर 2076 323 15.56 632
27. शाहपुरा 816 160 19.61 192
28. टाेंक 1946 774 39.77 349
29. उदयपुर 4483 467 10.42 1143