जयपुर. निवेश के लिहाज से राजस्थान देश का सबसे मुफीद और संभावनाओं वाला राज्य है। (Rising Rajasthan) यह कहना है नगरीय विकास मंत्री झाबर सिंह खर्रा का। शहरी विकास एवं आवास मंत्री खर्रा और मुख्य सचिव सुधांश पंत की उपस्थिति में जयपुर में सोमवार को ‘राइजिंग राजस्थान’ शहरी क्षेत्र प्री-समिट में 400 से अधिक निवेशकों के साथ 76 हजार 400 करोड़ रुपये से अधिक के नए निवेश एमओयू पर हस्ताक्षर किए गए।
रियल एस्टेट, डेटा सेंटर और आईटी पार्क, टाउनशिप और शैक्षणिक संस्थानों के निर्माण के क्षेत्रों में हस्ताक्षरित निवेश एमओयू राज्य में सतत शहरीकरण, किफायती और गुणवत्तापूर्ण जीवन के लक्ष्य को आगे बढ़ाएंगे। निवेश करारों पर हस्ताक्षर करने वाली प्रमुख कंपनियों में हीरानंदानी कंस्ट्रक्शन प्राइवेट लिमिटेड, के रहेजा कॉर्प, कस्तूरी ग्रुप और विराज ग्रुप शामिल हैं।
राइजिंग राजस्थान से पहले आयोजित प्री इन्वेस्टमेंट समिट में शहरी विकास एवं आवास मंत्री ने कहा कि सरकार अगले 5 वर्षों में राजस्थान की अर्थव्यवस्था के आकार को मौजूदा 180 बिलियन डॉलर से दोगुना करके 350 बिलियन डॉलर करने का लक्ष्य लेकर चल रही है। राजस्थान की लगभग 26% आबादी शहरों में रहती है और राजस्थान के सभी जिले महत्वपूर्ण आर्थिक केंद्र हैं जो राज्य की अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने जा रहे हैं। इसलिए, शहरी बुनियादी ढांचे का कायाकल्प और सुदृढ़ीकरण, बसों और मेट्रो जैसे सार्वजनिक परिवहन को बढ़ावा देना और किफायती आवास में परियोजनाओं को प्रोत्साहित करना सरकार की प्रमुख प्राथमिकताएँ हैं।
मुख्य सचिव सुधांश पंत ने कहा कि सीएम का कहना है कि राइजिंग राजस्थान के तहत हस्ताक्षरित समझौता ज्ञापनों को अगले 2-3 वर्षों में जमीन पर उतारा जाए। राजस्थान में ईज़ आफ़ डूइंग बिज़नेस को प्रोत्साहित करने, फाइल-प्रोसेसिंग समय को कम करने और उद्योगों के विस्तार और स्थापना के लिए विकेन्द्रीकृत-स्तर के निर्णय लेने को बढ़ावा देने में कोई कसर नहीं छोड़ी जा रही है।
प्री-समिट इवेंट में निवेशकों को प्रेजेंटेशन देते हुए शहरी विकास और आवास विभाग के प्रमुख सचिव वैभव गालरिया ने कहा कि राजस्थान राज्य में देश में सबसे अधिक भूमि है, जो बढ़ते शहरीकरण को देखते हुए अत्यंत महत्वपूर्ण है। पूर्वी राजस्थान नहर परियोजना की क्रियान्विति के बाद राज्य की पानी की कमी भी नहीं रहेगी। राज्य निवेशक-अनुकूल नीतियों जैसे कि किफायती आवास नीति और समान टाउनशिप नीति के प्रभावी कार्यान्वयन के माध्यम से सतत शहरीकरण के लिए प्रतिबद्ध है।
खर्रा ने शहरी विकास और आवास विभाग के नए विकास प्रोत्साहन और नियंत्रण विनियमों का भी शुभारंभ किया। इस कार्यक्रम में ‘भविष्य के लिए तैयार शहरों के लिए स्मार्ट बुनियादी ढांचे का निर्माण’ पर एक पूर्ण सत्र भी आयोजित किया गया जिसमें आवास, स्मार्ट शहरों, शहरी नियोजन के लिए आईटी समाधान, सतत शहरों, शहरी गतिशीलता, सार्वजनिक परिवहन, औद्योगिक टाउनशिप जैसे क्षेत्रों पर समृद्ध चर्चा हुई।
निवेशकों तक व्यापक पहुंच के परिणामस्वरूप प्रदेश सरकार को 12.75 लाख करोड़ रुपए से अधिक के निवेश प्रस्ताव प्राप्त हुए हैं (सोमवार के प्री-समिट में हस्ताक्षरित एमओयू के अतिरिक्त ) जो राज्य के प्रयासों में निवेशक और व्यापार समुदाय के दृढ़ विश्वास को दर्शाता है।
राइजिंग राजस्थान’ वैश्विक निवेश शिखर सम्मेलन 9 दिसंबर से
सरकार 9 से 11 दिसंबर को जयपुर में ‘राइजिंग राजस्थान’ वैश्विक निवेश शिखर सम्मेलन 2024 की मेजबानी करेगी। 3 दिवसीय मेगा शिखर सम्मेलन का उद्देश्य राज्य में वैश्विक निवेश, नवाचार और साझेदारी को आकर्षित करना और सुविधाजनक बनाना है। यह आयोजन उद्योग और वाणिज्य विभाग, निवेश संवर्धन ब्यूरो (बीआईपी) और रीको के सहयोग से आयोजित किया जा रहा है जिसमें बीआईपी इस शिखर सम्मेलन के लिए नोडल विभाग के रूप में कार्य कर रहा है।
शिखर सम्मेलन के दौरान, कृषि, नवीकरणीय, शिक्षा और कौशल, ऑटो और ईवी, बुनियादी ढांचा, रसायन और पेट्रो-रसायन, पर्यटन, स्टार्टअप, खनन और ईएसडीएम/आईटी और आईटीईएस और अन्य सहित विभिन्न फोकस क्षेत्रों पर विशेष पूर्ण सत्र आयोजित किए जाएंगे।